नाव चालकों, मोटर बोट चालकों तथा गोताखोरों को नई तकनीक का प्रशिक्षण दिया जाएगा
सिरसा, 7 जुलाई। जिला में बाढ़ जैसी स्थिति में बचाव कार्य के लिए प्रशासन द्वारा विभिन्न गांव के दो दर्जन से भी अधिक नाव चालकों, मोटर बोट चालकों तथा गोताखोरों को नई तकनीक का प्रशिक्षण दिया जाएगा और कार्य के दौरान इन लोगों को जिला प्रशासन द्वारा 1000 रुपए प्रतिदिन मानदेय दिया जाएगा। यह बात सिरसा के उपायुक्त डा. युद्धबीर सिंह ख्यालिया ने आज इन सभी नाव चालकों तथा मोटर बोट चालाकों की बैठक लेते हुए कही। उन्होंने कहा कि इन सभी बोट चालकों को नवीनतम तकनीकों से प्रशिक्षित किया जाएगा। जिला के बाढ़ अनुदेशक श्री रणजीत सिंह सोखल इन्हें प्रशिक्षण देंगे जो नाव और बोट चालन का कुरूक्षेत्र और हथनी कुंड बैराज में प्रशिक्षण पाप्त कर चुके हैं।
उन्होंने बताया कि बरसात के मौसम के दौरान घग्घर नदी में पानी बढ़ जाने और बाढ़ के एतिहातन प्रशासन द्वारा पर्याप्त मात्रा में किश्तियों, मोटर बोट और चप्पू आदि की व्यवस्था की गई है। जिला प्रशासन के पास इस समय 11 किश्तियां, पांच मोटर बोट तथा 40 चप्पू उपलब्ध हैं जिनकी पूरी तरह से मरम्मत करवाकर तैयार रखा गया है। कई गांवों में घग्घर के आरपार जाने के लिए किश्तियां उपलब्ध करवाई गई हैं जिनमें पनिहारी, फरवाई, बुढ़ाभाणा सहित कई गांवों शामिल हैं।
डा. ख्यालिया ने बताया कि बाढ़ बचाव के लिए जिला में प्रशासन द्वारा सभी तरह के इंतजाम पुख्ता किए गए हैं और सभी संबंधित विभागों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए गए हैं। जिला में विभिन्न जगहों पर पांच बाढ़ नियंत्रण कक्ष स्थापित किए गए हैं जिनमें दूरभाष की सुविधा भी उपलब्ध है। सभी बाढ़ नियंत्रण कक्षों में इंचार्ज की नियुक्ति कर दी गई है। जिला बाढ़ नियंत्रण कक्ष में डीआरओ सिरसा को इंचार्ज बनाया गया है जिनका नंबर 01666-248882 हैं। इसी प्रकार से तहसील कार्यालय सिरसा घग्घर डिवीजन के कार्यकारी अभियंता कार्यालय, तहसील कार्यालय डबवाली, तहसील कार्यालय ऐलनाबाद तथा रानियां के तहसील कार्यालय में बाढ़ नियंत्रण कक्ष स्थापित किए गए हैं।
उन्होंने बताया कि जिला में उनकी अध्यक्षता में बाढ़ नियंत्रण समिति भी गठित की गई है जिनमें पुलिस अधीक्षक, स्वास्थ्य विभाग, सिंचाई, पशुपालन, लोक निर्माण विभाग, खाद्य एवं आपूर्ति विभाग सहित अन्य विभागों के अधिकारियों को शामिल किया गया। इसके अलावा बाढ़ से संबंधित सभी प्रकार की अग्रिम सूचना लोगों तक पहुंचाने के लिए जिला सूचना एवं जनसंपर्क अधिकारी को इंचार्ज बनाया गया है। उन्होंने बताया कि पूर्व में बाढ़ से प्रभावित अढ़ाई दर्जन से भी अधिक गांवों की पहचान की गई है। इन गांवों में से 15 गांवों का विशेष प्रबंध के लिए चयन किया गया। इन सभी गांवों को सैक्टरों में बांटा गया। एक सैक्टर में झोपड़ा, नेजाडेला कलां, फरवाई कलां, बुर्जकर्मगढ़, पनिहारी, मुसाहिबवाला गांव को शामिल किया गया है। इस सैक्टर में तहसीलदार सिरसा और सिंचाई विभाग के रोड़ी डिवीजन के कार्यकारी अभियंता को सैक्टर अधिकारी लगाया गया है। इसी प्रकार से सहारणी, नेजाडेला खुर्द, मल्लेवाला, बुढ़ाभाणा, किराडकोट, नागोकी, रंगा, लहंगेवाला और मत्तड़ गांव को दूसरे सैक्टर में शामिल किया गया है जिसमें सिरसा के उपमंडलाधिकारी नागरिक और सिंचाई विभाग के नहराना डिवीजन के कार्यकारी अभियंता को सैक्टर अधिकारी लगाया गया है। इसके साथ-साथ जिला की सीमा में बहने वाली घग्घर नदी पर निगरानी के लिए नदी को भी सैक्टरों में बांटा गया है। घग्घर मुसाहिबवाला से लेकर ओटू तक, ओटू वीयर से जीवननगर ब्रिज तक तथा जीवननगर ब्रिज से राजस्थान कनाल साइफन तक तीन सैक्टर बनाए गए हैं जिनमें दो-दो अधिकारियों को सैक्टर अधिकारी लगाया गया है।
डा. ख्यालिया ने बताया कि हालांकि अभी घग्घर नदी में पानी बहने की मात्रा बिल्कुल कम है। इस समय ओटू वीयर में 1000 क्यूसिक, चांदपुरा में 800 क्यूसिक तथा खनौरी पर भी बहुत कम पानी की सूचना है। इसलिए अभी सिंचाई विभाग द्वारा और अधिक पुख्ता इंतजाम करने का कार्य जारी है। विभाग द्वारा पहले से ही सभी तटबंधों को मजबूत किया जा चुका है तथा ओटू वीयर से आगे घग्घर नदी की धार (क्रीक) को गहरा किया गया है। इसके अलावा जिला में अन्य ड्रेनों की भी सफाई करवाई गई है।
युवाओं को गुणवत्ता की शिक्षा उपलब्ध करवाने और शिक्षा का विस्तार करने के लिए 115.30 करोड़ रुपए की राशि खर्च की गई
सिरसा, 7 जुलाई। जिला में युवाओं को गुणवत्ता की शिक्षा उपलब्ध करवाने और शिक्षा का विस्तार करने के लिए वर्तमान सरकार के साढ़े छह वर्ष के कार्यकाल में 115.30 करोड़ रुपए की राशि खर्च की गई है, जिससे सिरसा जिला ने शिक्षा हब के रूप में राष्ट्रीय स्तर पर पहचान बनाई है। यह जानकारी गृह उद्योग एवं शहरी स्थानीय निकाय राज्य मंत्री श्री गोपाल कांडा ने आज यहां प्रेस विज्ञप्ति के माध्यम से दी।
उन्होंने आज यहां जारी विज्ञप्ति में बताया कि स्थानीय चौधरी देवीलाल विश्वविद्यालय को विकसित करने के लिए सरकार की जो भूमिका रही है वह किसी से छिपी नहीं हुई है। वर्तमान सरकार के कार्यकाल में चौधरी देवीलाल विश्वविद्यालय में भवन निर्माण व अन्य सुविधाएं उपलब्ध करवाने पर 56 करोड़ 42 लाख रुपए की राशि खर्च की गई है जिससे आज इस विश्वविद्यालय की पहचान राष्ट्रीय स्तर पर हुई है। इस विश्वविद्यालय की पहचान अभी तक आवासीय विश्वविद्यालय के रूप में थी लेकिन सरकार ने इस विश्वविद्यालय के विकास में एक और डग भरा है। अब हरियाणा के दो जिलों सिरसा और फतेहाबाद जिलों के 40 से भी अधिक सरकारी और गैर सरकारी महाविद्यालयों को चौधरी देवीलाल विश्वविद्यालय से सम्बद्ध कर दिया है। सरकार का यह निर्णय अत्यंत सराहनीय है। इस निर्णय से जहां विश्वविद्यालय के विकास को चार चांद लगेंगे वहीं दो जिलों के हजारों छात्रों को लाभ मिलेगा और छात्रों के लिए बेहतर शिक्षा ग्रहण करने के लिए रास्ते खुलेंगे।
श्री कांडा दोनों जिलों के महाविद्यालयों को इस विश्वविद्यालय से जोडऩे के लिए मुख्यमंत्री श्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा का आभार व्यक्त किया गया है। इससे पूर्व इन जिलों के महाविद्यालय कुरूक्षेत्र विश्वविद्यालय, कुरूक्षेत्र से सम्बद्घ थे और कुरूक्षेत्र की दूरी अधिक होने के कारण यहां के विद्यार्थी एवं आम जनता महाविद्यालयों को चौधरी देवी लाल विश्वविद्यालय, सिरसा से जोडऩे की बार-बार मांग कर रहे थे और मुख्यमंत्री के सिरसा दौरे के दौरान भी लोगों ने इन जिलों के महाविद्यालयों को इस विश्वविद्यालय से जोडऩे का आग्रह किया था और इसी के फलस्वरूप यह निर्णय लिया गया। उन्होंने कहा कि कहा कि मुख्यमंत्री का सिरसा जिले के साथ विशेष लगाव है और वे इस जिले के लोगों की मांगों को यथाशीघ्र पूरा करने का प्रयास करते हैं।
उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय स्तरीय शिक्षा के साथ-साथ जिला में वर्तमान सरकार के कार्यकाल में ऐलनाबाद और डबवाली में दो राजकीय महाविद्यालयों की स्थापना की गई है जिन पर करोड़ों रुपए की राशि खर्च हुई है। डबवाली में राजकीय महाविद्यालय के भवन निर्माण के लिए सभी प्रशासकीय औपचारिकताएं पूरी कर ली गई हैं। इसके साथ-साथ जिला में शिक्षा विभाग की विभिन्न योजनाओं के तहत स्कूलों में सुविधाएं उपलब्ध करवाने के लिए 58 करोड़ 98 लाख रुपए की राशि खर्च की गई है। सर्वशिक्षा अभियान के अंतर्गत लड़कियों को मुफ्त साईकिल प्रदान करने, बच्चों को मुफ्त किताबें वितरित करने और नए स्कूलों के निर्माण पर साढ़े 44 करोड़ रुपए की राशि खर्च की जा चुकी है। जिले के वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालयों और उच्च विद्यालयों में कमरों के निर्माण, मरम्मत तथा कंप्यूटर लैब आदि स्थापित करवाने पर आठ करोड़ 70 लाख रुपए की राशि खर्च की गई है। उन्होंने बताया कि जिला में 11 आदर्श विद्यालय भी घोषित किए गए हैं जिनमें सुविधाएं उपलब्ध करवाने पर तीन करोड़ 70 लाख रुपए की राशि खर्च की है। इसी तरह से स्कूली विद्यार्थियों को गुणवत्ता की शिक्षा उपलब्ध करवाने के लिए कंप्यूटर शिक्षा को बढ़ावा दिया गया जिस पर लगभग 2 करोड़ रुपए की राशि खर्च हुई है। इस प्रकार से शिक्षा के मामले में सिरसा जिला ने नए आयाम स्थापित किए हैं। राज्य सरकार द्वारा उपरोक्त सभी प्रकार की सुविधाएं उपलब्ध करवाने के दूरगामी सार्थक परिणाम आएंगे और भविष्य में यहां के शिक्षण संस्थाओं से निकलने वाले विद्यार्थी अंतर्राष्ट्रीय व राष्ट्रीय स्तर पर जिला की पहचान बनाएंगे।
आंगनवाड़ी केंद्रों व भवनों के निर्माण व उसमें सुविधाए उपलब्ध करवाने के लिए 12 करोड़ 59 लाख 39 हजार रुपए की राशि खर्च की गई
सिरसा, 7 जुलाई। जिला में नौनिहाल के बेहतर स्वास्थ्य एवं स्कूल शिक्षा के लिए तैयार करने हेतु आंगनवाड़ी केंद्रों व भवनों के निर्माण व उसमें सुविधाए उपलब्ध करवाने के लिए पिछड़ा क्षेत्र अनुदान निधि योजना के तहत 12 करोड़ 59 लाख 39 हजार रुपए की राशि खर्च की गई है।
यह जानकारी देते हुए उपायुक्त डा. युद्धबीर सिंह ख्यालिया ने बताया कि जिला में पिछड़ा अनुदान निधि योजना के तहत 2 करोड़ 89 लाख 80 हजार की लागत से 63 आंगनवाड़ी केन्द्रों कर स्थापना की जा रही है। ये केंद्र जिला के बड़ागुढा में 10 केंद्रों की स्थापना व डबवाली में 13 व रानियां व ऐलनाबाद में 16-16, माधोसिंघाना में 8 केन्द्रों का निर्माण करवाया जा रहा है। उन्होंने बताया कि 2007-09 में 145 आंगनवाडी़ केन्द्रों का निर्माण करवाया जा चुुका है, जिन पर 4 करोड़ 99 लाख 14 हजार रुपए की राशि खर्च की गई है। इन सभी आंगनवाड़ी केंद्रो ने सुचारू रूप से कार्य करना शुरू कर दिया है।
डा. ख्यालिया ने बताया कि पिछड़ा अनुदान निधि योजना के तहत 1344 आंगनवाड़ी केंद्रों में ट्वॉय किट दी गई जिसमें 4 करोड़ 51 लाख रुपए की राशि खर्च की गई। इसके साथ-साथ 1223 आंगनवाड़ी केंद्रों में 5495 रुपए की लागत से गैस कनैैक्शन दिए गए है, जिस पर 6 लाख 72 हजार 385 रुपए की राशि खर्च की गई। उन्होंने बताया कि 1344 आंगनवाड़ी केंद्रो में सीलिंग फन लगाए गए जिस पर 12 लाख 72 हजार 768 रुपए की राशि खर्च की गई।
उन्होंने बताया कि जिला में बच्चों को स्वच्छ एवं साफ-सुथरा वातावरण प्रदान करने एवं उनके लिए गांवंों में एक परिसम्पत्ति सृजित करने हेतु आंगनवाड़ी भवनों के निर्माण की योजना चलाई गई है। उन्होंने बताया कि जिला में एक आंगनवाड़ी केंद्र स्थापित करने के लिए पिछड़ा अनुदान क्षेत्र योजना के तहत 4 लाख 60 हजार रुपए की राशि केंद्रों की पंचायतों को प्रदान की जाती है। पंचायतों द्वारा कम से कम 200 वर्ग गज भूमि नि:शुल्क आंगनवाडी़ केंद्रों की स्थापना के लिए उपलब्ध करवाती है।
814 सीटों पर 2963 इच्छुक विद्यार्थियों के दाखिला-पत्र प्राप्त हुए
हिसार 7 जुलाई 2011-गुरू जम्भेश्वर विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, हिसार के कुलपति डॉ एमएल रंगा ने बताया कि 9 एमटैक, 4 एम फार्मेसी, 11 एमएससी व 4 पीजी डिप्लोमा पाठïयक्रमों में 814 सीटों पर 2963 इच्छुक विद्यार्थियों के दाखिला-पत्र प्राप्त हुए है। उन्होने बताया कि मैरिट लिस्ट का निर्धारण विद्यार्थियों को दाखिला प्रवेश परीक्षा व शैक्षणिक योग्यता में प्राप्त अंको को बराबर-बराबर आधार पर सम्मिलित करके किया जाएगा।
विश्वविद्यालय के कुलसचिव प्रो आरएस जागलान ने बताया कि 9 जुलाई को ग्रुप-1 के पाठ्यक्रम एमएससी एप्लाईड साइक्लोजी, एमएसी मॉस कम्यूनिकेशन, एमएससी डवलपमेंट कम्यूनिकेशन, पीजी डिप्लोमा इन डिफेन्स जर्नलिजम, एमएससी एडवरटाइ्रजिंग मैनेजमेंट एण्ड पब्लिक रिलेशन्स, पीजी डिप्लोमा इन वैब एडवरटाईजिंग एण्ड एनिमेशन तथा पीजी डिप्लोमा इन टूरिज्म पीआर का व 10 जुलाई को ग्रुप-2 के पाठ्यक्रम एमएससी इण्डस्ट्रीयल माईक्रोबायोलोजी, एमएससी मैथेमेटिक्स, एमएससी फिजिक्स, एमएससी केमिस्ट्री, एमएससी एन्वायरमेंटल साईंसिस, एमएससी फूड टैक्नोलाजी, एमएससी बायो टैक्नोलाजी व पीजी डिप्लोमा इन पिगमेंट एण्ड पेन्ट टैक्नोलाजी की प्रवेश परीक्षा आयोजित की जाएगी। प्रो जागलान ने बताया कि ग्रुप-1 में 238 व ग्रुप-2 में 1412 दाखिला पत्र प्राप्त हुए है।
प्रो जागलान ने बताया कि प्रवेश परीक्षाओं के लिए सभी तैयारियां पूरी कर ली गई है। ग्रुप-1 में सम्मिलित 7 पाठ्यक्रमों के लिए प्रवेश परीक्षाएं 9 जुलाई व ग्रुप-2 में सम्मिलित 8 पाठ्यक्रमों के लिए प्रवेश परीक्षाएं 10 जुलाई को सुबह 11:30 से 1:00 बजे तक आयोजित की जाएंगी।
बात के धनी श्री हुड्डा एक बार फिर अपने वायदों पर खरे उतरे है
सिरसा। ब्लाक कांग्रेस कमेटी सिरसा शहरी के प्रधान भूपेश मेहता ने सिरसा व फतेहाबाद के सारे कालेजों को चौ. देवीलाल विश्वविद्यालय से जोड़े जाने के निर्णय पर मुख्यमंत्री चौ. भूपेंद्र सिंह हुड्डा व सांसद डा. अशोक तंवर के प्रति आभार जताते हुए कहा कि बात के धनी श्री हुड्डा एक बार फिर अपने वायदों पर खरे उतरे है तथा जिलावासियों की चिरलंबित मांग को पूरा किया है।
श्री मेहता आज अपने कार्यालय में कांग्रेस कार्यकर्ताओं की बैठक को संबोधित कर रहे थे। इस मौके पर उनके साथ औमप्रकाश एंथोनी, विनोद उपाध्याय, रामदास बजाज, जग्गी बाजेकां, औमप्रकाश फूलकां, वेद प्रकाश कसुंभी, हंसराज सलारपुर, सतपाल गोदारा शेरपुरा, प्रेम सैनी, रमेश गोयल, अभिमन्यू मलिक, भूप सिंह भडोरिया, बंसी कायत, चंद्रभान कुलडिया फूलकां, दर्शन सिंह चमकीला, सुरिंद्र कौर,दर्शनारानी सहित अनेक कार्यकर्ता उपस्थित थे।
कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए भूपेश मेहता ने कहा कि मुख्यमंत्री श्री हुड्डा ने सांसद डा. अशोक तंवर के नेतृत्व में सिरसा में आयोजित हुई बढ़ते कदम रैली में सिरसा वासियों से वायदा किया था कि वे चौ. देवीलाल विश्वविद्यालय का संपूर्ण विकास करवाएंगे साथ ही लड़कियों के लिए अलग कालेज की स्थापना की जाएगी। अपने वायदे पर खरा उतरते हुए मुख्यमंत्री ने चौ. देवीलाल विश्वविद्यालय को सिरसा व फतेहाबाद जिलों के 42 से अधिक कालेजों को जोड़कर न केवल इस क्षेत्र के हजारों विद्यार्थियों को राहत प्रदान की है, बल्कि विश्वविद्यालय के विकास के द्वार भी खोले हैं। श्री मेहता ने कहा कि सिरसा में महिला कालेज की स्थापना के लिए भी चौ. देवीलाल विश्वविद्यालय के समक्ष मिनी बाईपास पर पड़ी साढ़े 18 एकड़ भूमि को शीघ्र ही मंजूरी मिलने जा रही है। उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री के इन निर्णयों से शिक्षा के क्षेत्र में प्रदेश का नाम रोशन होगा साथ ही चौ. देवीलाल विश्वविद्यालय व सिरसा जिला शिक्षा के क्षेत्र में अग्रणी बनेंगे। इस अवसर पर श्री मेहता ने शिक्षा विभाग में तबादला नीति में महिलाओं को विशेष छुट दिए जाने की भी सराहना की।
9 किलो 800 ग्राम डोडा चूरापोस्त सहित एक व्यक्ति को काबू किया
सिरसा। थाना शहर सिरसा की बस स्टैंड पुलिस चौकी ने गश्त व चैकिंग के दौरान विश्वकर्मा चौक के निकट से 9 किलो 800 ग्राम डोडा चूरापोस्त सहित एक व्यक्ति को काबू किया है। पकड़े गए आरोपी की पहचान कैलाशचंद पुत्र भगवानाराम निवासी खिरोड जिला झूंझनु राजस्थान के रूप में हुई है। आरोपी के खिलाफ मादक पदार्थ अधिनियम के तहत थाना शहर सिरसा में अभियोग दर्ज किया गया है। आरोपी को आज सिरसा अदालत में पेश किया जाएगा। जानकारी के अनुसार बस स्टैंड चौकी प्रभारी सहायक उपनिरीक्षक जसबीर ङ्क्षसह अन्य पुलिस कर्मियों के साथ विश्वकर्मा चौक के पास तैनात थे, इसी दौरान बस स्टैंड की ओर से निकल कर एक व्यक्ति आया व पुलिस पार्टी को देखकर खिसकने का प्रयास किया। शक के आधार पर पुलिस ने रोककर उसकी तलाशी ली तो उसके कब्जे से 9 किलो 800 ग्राम चूरापोस्त बरामद किया।
एक अन्य घटना में शहर थाना पुलिस ने संजयखान पुत्र गुलमोहम्मद खान निवासी चतरगढपट्टी सिरसा को 8 बोतल शराब सहित डबवाली रोड क्षेत्र से काबू किया। वहीं सदर सिरसा पुलिस ने सट्टाखाईवाली करने के आरोप में पम्मा पुत्र बंजार सिंह निवासी मल्लेकां को 510 रूपए की सट्टाराशि सहित काबू किया।
थाना शहर सिरसा पुलिस की हुडा पुलिस चौकी ने गश्त व चैकिंग के दौरान एक व्यक्ति को 32 बोर के नाजायज पिस्तौल के साथ काबू किया है। पकड़े गए आरोपी की पहचान सुरेश कुमार पुत्र रमेशचंद निवासी वेदवाला के रूप में हुई है। आरोपी के खिलाफ शस्त्र अधिनियम के तहत थाना शहर सिरसा में अभियोग दर्ज किया गया है। शहर थाना की हुडा पुलिस चौकी के मुख्य सिपाही कुलदीप सिंह पर आधारित पुलिस टीम ने हुडा के सैक्टर 20 क्षेत्र में गश्त के दौरान एक व्यक्ति ने छिपने का प्रयास किया, जिसे पुलिस ने शक के आधार पर काबू कर उसकी तलाशी ली, तो उसके कब्जे से 32 बोर का एक नजायज पिस्तौल बरामद हुआ। आरोपी को आज न्यायलय में पेश कर रिमांड हासिल किया जाएगा।
शहर थाना सिरसा पुलिस ने बीती 25 मई को मुल्तानी कालोनी क्षेत्र में हुई चोरी की घटना के मामले में दूसरे आरोपी को भी गिरफ्तार कर लिया है। पकड़े गए आरोपी की पहचान अरूण पुत्र जनकराज निवासी मुल्तानी कालोनी सिरसा के रूप में हुई है। मामले के जांच अधिकारी उपनिरीक्षक कृष्ण कुमार ने जानकारी देते हुए बतलाया कि इस संबंध में सुनीता पत्नी सुरेंद्र निवासी मुल्तानी कालोनी की शिकायत पर चोरी का अभियोग दर्ज किया था। इस मामले में पुलिस ने एक आरोपी दीपक पुत्र लालचंद निवासी पुरानी हाउसिंग बोर्ड कालोनी को पहले की काबू कर लिया था। उन्होंने बताया कि गिरफ्तार किए गए आरोपी अरूण से पूछताछ की जा रही है।
जिला की रानियां पुलिस ने ट्राला चोरी के मामले में घटनास्थल से 6 वर्ष से फरार चल रहे उदघोषित अपराधी को पंजाब की अमृतसर जेल से प्रोडेक्शन वारंट पर लेकर ऐलनाबाद अदालत में पेश किया, जहां से उसे एक दिन के पुलिस रिमांड पर लिया गया। आरोपी को आज पुन: ऐलनाबाद अदालत में पेश किया गया, जहां से उसे न्यायिक हिरासत में सिरसा जेल भेज दिया गया है। रानियां थाना के प्रभारी निरीक्षक हीरा ङ्क्षसह ने जानकारी देते हुए बतलाया कि आरोपी अमरजीत ङ्क्षसह पुत्र हरबंस सिंह निवासी कत्थू नंगल के खिलाफ थाना रानियां में 2005 में ट्राला चोरी का अभियोग दर्ज हुआ था। उन्होंने बताया कि घटना के चार आरोपियों को गिरफ्तार कर रानियां पुलिस ने चोरीशुदा ट्राला पहले की बरामद कर लिया था, लेकिन आरोपी अमरजीत सिंह फरार चल रहा था। थाना प्रभारी ने बताया कि रानियां पुलिस को सूचना मिली कि आरोपी अमरजीत ङ्क्षसह अमृतसर की जिला जेल में चोरी के दो मामलों के संबंध में जेल में हैं, उन्होंने बताया कि सूचना के आधार पर रानियां पुलिस ने ऐलनाबाद अदालत से प्रोडेक्शन वारंट जारी करवाकर आरोपी को गिरफ्तार किया। उन्होंने बताया कि आरोपी के खिलाफ अदालती आदेशों की अवहेलना करने के आरोप में भादंसं की धारा 174ए के तहत भी अभियोग दर्ज किया गया है।
सिरसा। पुलिस अधीक्षक सतेंद्र कुमार गुप्ता ने कहा कि सेवानिवृत हुए पुलिस कर्मियों ने अपना संपूर्ण जीवन पुलिस विभाग व आमजन की सेवा में समर्पित कर दिया है, जिसके लिए वे प्रशंसा के पात्र है। उन्होंने कहा कि वे सेवानिवृत होने वाले पुलिस कर्मियों की उज्जवल भविष्य की कामना करते है। श्री गुप्ता आज पुलिस लाईन में स्थित सामुदायिक केंद्र में सेवानिवृत पुलिस कर्मियों के सम्मान में आयोजित समारोह को संबोधित कर रहे थे। इस अवसर पर पुलिस अधीक्षक ने सेवानिवृत होने वाले 9 पुलिस कर्मियों को स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया। इस अवसर पर श्री गुप्ता ने उपस्थित पुलिस कर्मियों से आह्वान किया कि वे सेवानिवृत होने वाले पुलिस कर्मियों से प्र्रेरणा लें। आज सेवानिवृत होने वाले पुलिस कर्मियों निरीक्षक सतपाल, उपनिरीक्षक जगदीश राय, आसाराम, जगदीशचंद्र, जयसिंह, सहायक उपनिरीक्षक सुबे सिंह, महीपाल, मुख्य सिपाही हरदीप सिंह तथा बहादूर सिंह के नाम शामिल है। इस अवसर पर अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक प्रवीण मेहता, डीएसपी डबवाली बाबूलाल यादव, डीएसपी ऐलनाबाद रविंद्र कुमार, डीएसपी मुख्यालय पूर्णचंद पंवार सहित जिला के अनेक पुलिस अधिकारी व कर्मचारी उपस्थित थे।
230 मरीजों की आंखों की जांच की
ओढ़ां-गांव राजपुरा में पंचायतघर के निकट ग्राम पंचायत द्वारा आयोजित आंखों के नि:शुल्क शिविर में सिरसा के सूर्या अस्पताल के डॉ. जितेंद्र एवं डॉ. अमरजीत ने अपनी टीम के साथ 230 मरीजों की आंखों की जांच की। जांचे गए 230 मरीजों में से 15 मरीज मोतियाबिंद के पाए गए जिनका आप्रेशन किया जाएगा। कैंप में आए सभी मरीजों को नि:शुल्क दवाएं भी दी गई। इस अवसर पर डॉ. जितेंद्र ने बताया कि आंखें हमारे शरीर का सबसे महत्वपूर्ण अंग हैं अत: इनकी देखभाल पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है। उन्होंने बताया कि आंखों की देखभाल हेतु नियमित अंतराल पर आंखों की जांच करवाते रहना चाहिए तथा डॉ. के निर्देशानुसार उपचार करवाते रहना चाहिए। सरपंच सहजिंद्र सिंह ने बताया कि जिन मरीजों के आप्रेशन किए जाने हैं उनके आप्रेशन ग्राम पंचायत की ओर से नि:शुल्क करवाए जाएंगे। उन्होंने बताया कि ग्राम पंचायत की ओर से स्वास्थ्य की जांच हेतु इस प्रकार के शिविरों का आयोजन आगे भी जारी रहेगा ताकि गांववासी स्वस्थ रहें। इस अवसर पर सुखजिंद्र सिंह, शीशपाल, सुरेंद्र कुमार, अमरजीत, करतार सिंह और जसवंत सिंह सहित अनेक लोग उपस्थित थे।
सिरसा, 7 जुलाई। जिला में बाढ़ जैसी स्थिति में बचाव कार्य के लिए प्रशासन द्वारा विभिन्न गांव के दो दर्जन से भी अधिक नाव चालकों, मोटर बोट चालकों तथा गोताखोरों को नई तकनीक का प्रशिक्षण दिया जाएगा और कार्य के दौरान इन लोगों को जिला प्रशासन द्वारा 1000 रुपए प्रतिदिन मानदेय दिया जाएगा। यह बात सिरसा के उपायुक्त डा. युद्धबीर सिंह ख्यालिया ने आज इन सभी नाव चालकों तथा मोटर बोट चालाकों की बैठक लेते हुए कही। उन्होंने कहा कि इन सभी बोट चालकों को नवीनतम तकनीकों से प्रशिक्षित किया जाएगा। जिला के बाढ़ अनुदेशक श्री रणजीत सिंह सोखल इन्हें प्रशिक्षण देंगे जो नाव और बोट चालन का कुरूक्षेत्र और हथनी कुंड बैराज में प्रशिक्षण पाप्त कर चुके हैं।
उन्होंने बताया कि बरसात के मौसम के दौरान घग्घर नदी में पानी बढ़ जाने और बाढ़ के एतिहातन प्रशासन द्वारा पर्याप्त मात्रा में किश्तियों, मोटर बोट और चप्पू आदि की व्यवस्था की गई है। जिला प्रशासन के पास इस समय 11 किश्तियां, पांच मोटर बोट तथा 40 चप्पू उपलब्ध हैं जिनकी पूरी तरह से मरम्मत करवाकर तैयार रखा गया है। कई गांवों में घग्घर के आरपार जाने के लिए किश्तियां उपलब्ध करवाई गई हैं जिनमें पनिहारी, फरवाई, बुढ़ाभाणा सहित कई गांवों शामिल हैं।
डा. ख्यालिया ने बताया कि बाढ़ बचाव के लिए जिला में प्रशासन द्वारा सभी तरह के इंतजाम पुख्ता किए गए हैं और सभी संबंधित विभागों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए गए हैं। जिला में विभिन्न जगहों पर पांच बाढ़ नियंत्रण कक्ष स्थापित किए गए हैं जिनमें दूरभाष की सुविधा भी उपलब्ध है। सभी बाढ़ नियंत्रण कक्षों में इंचार्ज की नियुक्ति कर दी गई है। जिला बाढ़ नियंत्रण कक्ष में डीआरओ सिरसा को इंचार्ज बनाया गया है जिनका नंबर 01666-248882 हैं। इसी प्रकार से तहसील कार्यालय सिरसा घग्घर डिवीजन के कार्यकारी अभियंता कार्यालय, तहसील कार्यालय डबवाली, तहसील कार्यालय ऐलनाबाद तथा रानियां के तहसील कार्यालय में बाढ़ नियंत्रण कक्ष स्थापित किए गए हैं।
उन्होंने बताया कि जिला में उनकी अध्यक्षता में बाढ़ नियंत्रण समिति भी गठित की गई है जिनमें पुलिस अधीक्षक, स्वास्थ्य विभाग, सिंचाई, पशुपालन, लोक निर्माण विभाग, खाद्य एवं आपूर्ति विभाग सहित अन्य विभागों के अधिकारियों को शामिल किया गया। इसके अलावा बाढ़ से संबंधित सभी प्रकार की अग्रिम सूचना लोगों तक पहुंचाने के लिए जिला सूचना एवं जनसंपर्क अधिकारी को इंचार्ज बनाया गया है। उन्होंने बताया कि पूर्व में बाढ़ से प्रभावित अढ़ाई दर्जन से भी अधिक गांवों की पहचान की गई है। इन गांवों में से 15 गांवों का विशेष प्रबंध के लिए चयन किया गया। इन सभी गांवों को सैक्टरों में बांटा गया। एक सैक्टर में झोपड़ा, नेजाडेला कलां, फरवाई कलां, बुर्जकर्मगढ़, पनिहारी, मुसाहिबवाला गांव को शामिल किया गया है। इस सैक्टर में तहसीलदार सिरसा और सिंचाई विभाग के रोड़ी डिवीजन के कार्यकारी अभियंता को सैक्टर अधिकारी लगाया गया है। इसी प्रकार से सहारणी, नेजाडेला खुर्द, मल्लेवाला, बुढ़ाभाणा, किराडकोट, नागोकी, रंगा, लहंगेवाला और मत्तड़ गांव को दूसरे सैक्टर में शामिल किया गया है जिसमें सिरसा के उपमंडलाधिकारी नागरिक और सिंचाई विभाग के नहराना डिवीजन के कार्यकारी अभियंता को सैक्टर अधिकारी लगाया गया है। इसके साथ-साथ जिला की सीमा में बहने वाली घग्घर नदी पर निगरानी के लिए नदी को भी सैक्टरों में बांटा गया है। घग्घर मुसाहिबवाला से लेकर ओटू तक, ओटू वीयर से जीवननगर ब्रिज तक तथा जीवननगर ब्रिज से राजस्थान कनाल साइफन तक तीन सैक्टर बनाए गए हैं जिनमें दो-दो अधिकारियों को सैक्टर अधिकारी लगाया गया है।
डा. ख्यालिया ने बताया कि हालांकि अभी घग्घर नदी में पानी बहने की मात्रा बिल्कुल कम है। इस समय ओटू वीयर में 1000 क्यूसिक, चांदपुरा में 800 क्यूसिक तथा खनौरी पर भी बहुत कम पानी की सूचना है। इसलिए अभी सिंचाई विभाग द्वारा और अधिक पुख्ता इंतजाम करने का कार्य जारी है। विभाग द्वारा पहले से ही सभी तटबंधों को मजबूत किया जा चुका है तथा ओटू वीयर से आगे घग्घर नदी की धार (क्रीक) को गहरा किया गया है। इसके अलावा जिला में अन्य ड्रेनों की भी सफाई करवाई गई है।
युवाओं को गुणवत्ता की शिक्षा उपलब्ध करवाने और शिक्षा का विस्तार करने के लिए 115.30 करोड़ रुपए की राशि खर्च की गई
सिरसा, 7 जुलाई। जिला में युवाओं को गुणवत्ता की शिक्षा उपलब्ध करवाने और शिक्षा का विस्तार करने के लिए वर्तमान सरकार के साढ़े छह वर्ष के कार्यकाल में 115.30 करोड़ रुपए की राशि खर्च की गई है, जिससे सिरसा जिला ने शिक्षा हब के रूप में राष्ट्रीय स्तर पर पहचान बनाई है। यह जानकारी गृह उद्योग एवं शहरी स्थानीय निकाय राज्य मंत्री श्री गोपाल कांडा ने आज यहां प्रेस विज्ञप्ति के माध्यम से दी।
उन्होंने आज यहां जारी विज्ञप्ति में बताया कि स्थानीय चौधरी देवीलाल विश्वविद्यालय को विकसित करने के लिए सरकार की जो भूमिका रही है वह किसी से छिपी नहीं हुई है। वर्तमान सरकार के कार्यकाल में चौधरी देवीलाल विश्वविद्यालय में भवन निर्माण व अन्य सुविधाएं उपलब्ध करवाने पर 56 करोड़ 42 लाख रुपए की राशि खर्च की गई है जिससे आज इस विश्वविद्यालय की पहचान राष्ट्रीय स्तर पर हुई है। इस विश्वविद्यालय की पहचान अभी तक आवासीय विश्वविद्यालय के रूप में थी लेकिन सरकार ने इस विश्वविद्यालय के विकास में एक और डग भरा है। अब हरियाणा के दो जिलों सिरसा और फतेहाबाद जिलों के 40 से भी अधिक सरकारी और गैर सरकारी महाविद्यालयों को चौधरी देवीलाल विश्वविद्यालय से सम्बद्ध कर दिया है। सरकार का यह निर्णय अत्यंत सराहनीय है। इस निर्णय से जहां विश्वविद्यालय के विकास को चार चांद लगेंगे वहीं दो जिलों के हजारों छात्रों को लाभ मिलेगा और छात्रों के लिए बेहतर शिक्षा ग्रहण करने के लिए रास्ते खुलेंगे।
श्री कांडा दोनों जिलों के महाविद्यालयों को इस विश्वविद्यालय से जोडऩे के लिए मुख्यमंत्री श्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा का आभार व्यक्त किया गया है। इससे पूर्व इन जिलों के महाविद्यालय कुरूक्षेत्र विश्वविद्यालय, कुरूक्षेत्र से सम्बद्घ थे और कुरूक्षेत्र की दूरी अधिक होने के कारण यहां के विद्यार्थी एवं आम जनता महाविद्यालयों को चौधरी देवी लाल विश्वविद्यालय, सिरसा से जोडऩे की बार-बार मांग कर रहे थे और मुख्यमंत्री के सिरसा दौरे के दौरान भी लोगों ने इन जिलों के महाविद्यालयों को इस विश्वविद्यालय से जोडऩे का आग्रह किया था और इसी के फलस्वरूप यह निर्णय लिया गया। उन्होंने कहा कि कहा कि मुख्यमंत्री का सिरसा जिले के साथ विशेष लगाव है और वे इस जिले के लोगों की मांगों को यथाशीघ्र पूरा करने का प्रयास करते हैं।
उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय स्तरीय शिक्षा के साथ-साथ जिला में वर्तमान सरकार के कार्यकाल में ऐलनाबाद और डबवाली में दो राजकीय महाविद्यालयों की स्थापना की गई है जिन पर करोड़ों रुपए की राशि खर्च हुई है। डबवाली में राजकीय महाविद्यालय के भवन निर्माण के लिए सभी प्रशासकीय औपचारिकताएं पूरी कर ली गई हैं। इसके साथ-साथ जिला में शिक्षा विभाग की विभिन्न योजनाओं के तहत स्कूलों में सुविधाएं उपलब्ध करवाने के लिए 58 करोड़ 98 लाख रुपए की राशि खर्च की गई है। सर्वशिक्षा अभियान के अंतर्गत लड़कियों को मुफ्त साईकिल प्रदान करने, बच्चों को मुफ्त किताबें वितरित करने और नए स्कूलों के निर्माण पर साढ़े 44 करोड़ रुपए की राशि खर्च की जा चुकी है। जिले के वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालयों और उच्च विद्यालयों में कमरों के निर्माण, मरम्मत तथा कंप्यूटर लैब आदि स्थापित करवाने पर आठ करोड़ 70 लाख रुपए की राशि खर्च की गई है। उन्होंने बताया कि जिला में 11 आदर्श विद्यालय भी घोषित किए गए हैं जिनमें सुविधाएं उपलब्ध करवाने पर तीन करोड़ 70 लाख रुपए की राशि खर्च की है। इसी तरह से स्कूली विद्यार्थियों को गुणवत्ता की शिक्षा उपलब्ध करवाने के लिए कंप्यूटर शिक्षा को बढ़ावा दिया गया जिस पर लगभग 2 करोड़ रुपए की राशि खर्च हुई है। इस प्रकार से शिक्षा के मामले में सिरसा जिला ने नए आयाम स्थापित किए हैं। राज्य सरकार द्वारा उपरोक्त सभी प्रकार की सुविधाएं उपलब्ध करवाने के दूरगामी सार्थक परिणाम आएंगे और भविष्य में यहां के शिक्षण संस्थाओं से निकलने वाले विद्यार्थी अंतर्राष्ट्रीय व राष्ट्रीय स्तर पर जिला की पहचान बनाएंगे।
आंगनवाड़ी केंद्रों व भवनों के निर्माण व उसमें सुविधाए उपलब्ध करवाने के लिए 12 करोड़ 59 लाख 39 हजार रुपए की राशि खर्च की गई
सिरसा, 7 जुलाई। जिला में नौनिहाल के बेहतर स्वास्थ्य एवं स्कूल शिक्षा के लिए तैयार करने हेतु आंगनवाड़ी केंद्रों व भवनों के निर्माण व उसमें सुविधाए उपलब्ध करवाने के लिए पिछड़ा क्षेत्र अनुदान निधि योजना के तहत 12 करोड़ 59 लाख 39 हजार रुपए की राशि खर्च की गई है।
यह जानकारी देते हुए उपायुक्त डा. युद्धबीर सिंह ख्यालिया ने बताया कि जिला में पिछड़ा अनुदान निधि योजना के तहत 2 करोड़ 89 लाख 80 हजार की लागत से 63 आंगनवाड़ी केन्द्रों कर स्थापना की जा रही है। ये केंद्र जिला के बड़ागुढा में 10 केंद्रों की स्थापना व डबवाली में 13 व रानियां व ऐलनाबाद में 16-16, माधोसिंघाना में 8 केन्द्रों का निर्माण करवाया जा रहा है। उन्होंने बताया कि 2007-09 में 145 आंगनवाडी़ केन्द्रों का निर्माण करवाया जा चुुका है, जिन पर 4 करोड़ 99 लाख 14 हजार रुपए की राशि खर्च की गई है। इन सभी आंगनवाड़ी केंद्रो ने सुचारू रूप से कार्य करना शुरू कर दिया है।
डा. ख्यालिया ने बताया कि पिछड़ा अनुदान निधि योजना के तहत 1344 आंगनवाड़ी केंद्रों में ट्वॉय किट दी गई जिसमें 4 करोड़ 51 लाख रुपए की राशि खर्च की गई। इसके साथ-साथ 1223 आंगनवाड़ी केंद्रों में 5495 रुपए की लागत से गैस कनैैक्शन दिए गए है, जिस पर 6 लाख 72 हजार 385 रुपए की राशि खर्च की गई। उन्होंने बताया कि 1344 आंगनवाड़ी केंद्रो में सीलिंग फन लगाए गए जिस पर 12 लाख 72 हजार 768 रुपए की राशि खर्च की गई।
उन्होंने बताया कि जिला में बच्चों को स्वच्छ एवं साफ-सुथरा वातावरण प्रदान करने एवं उनके लिए गांवंों में एक परिसम्पत्ति सृजित करने हेतु आंगनवाड़ी भवनों के निर्माण की योजना चलाई गई है। उन्होंने बताया कि जिला में एक आंगनवाड़ी केंद्र स्थापित करने के लिए पिछड़ा अनुदान क्षेत्र योजना के तहत 4 लाख 60 हजार रुपए की राशि केंद्रों की पंचायतों को प्रदान की जाती है। पंचायतों द्वारा कम से कम 200 वर्ग गज भूमि नि:शुल्क आंगनवाडी़ केंद्रों की स्थापना के लिए उपलब्ध करवाती है।
814 सीटों पर 2963 इच्छुक विद्यार्थियों के दाखिला-पत्र प्राप्त हुए
हिसार 7 जुलाई 2011-गुरू जम्भेश्वर विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय, हिसार के कुलपति डॉ एमएल रंगा ने बताया कि 9 एमटैक, 4 एम फार्मेसी, 11 एमएससी व 4 पीजी डिप्लोमा पाठïयक्रमों में 814 सीटों पर 2963 इच्छुक विद्यार्थियों के दाखिला-पत्र प्राप्त हुए है। उन्होने बताया कि मैरिट लिस्ट का निर्धारण विद्यार्थियों को दाखिला प्रवेश परीक्षा व शैक्षणिक योग्यता में प्राप्त अंको को बराबर-बराबर आधार पर सम्मिलित करके किया जाएगा।
विश्वविद्यालय के कुलसचिव प्रो आरएस जागलान ने बताया कि 9 जुलाई को ग्रुप-1 के पाठ्यक्रम एमएससी एप्लाईड साइक्लोजी, एमएसी मॉस कम्यूनिकेशन, एमएससी डवलपमेंट कम्यूनिकेशन, पीजी डिप्लोमा इन डिफेन्स जर्नलिजम, एमएससी एडवरटाइ्रजिंग मैनेजमेंट एण्ड पब्लिक रिलेशन्स, पीजी डिप्लोमा इन वैब एडवरटाईजिंग एण्ड एनिमेशन तथा पीजी डिप्लोमा इन टूरिज्म पीआर का व 10 जुलाई को ग्रुप-2 के पाठ्यक्रम एमएससी इण्डस्ट्रीयल माईक्रोबायोलोजी, एमएससी मैथेमेटिक्स, एमएससी फिजिक्स, एमएससी केमिस्ट्री, एमएससी एन्वायरमेंटल साईंसिस, एमएससी फूड टैक्नोलाजी, एमएससी बायो टैक्नोलाजी व पीजी डिप्लोमा इन पिगमेंट एण्ड पेन्ट टैक्नोलाजी की प्रवेश परीक्षा आयोजित की जाएगी। प्रो जागलान ने बताया कि ग्रुप-1 में 238 व ग्रुप-2 में 1412 दाखिला पत्र प्राप्त हुए है।
प्रो जागलान ने बताया कि प्रवेश परीक्षाओं के लिए सभी तैयारियां पूरी कर ली गई है। ग्रुप-1 में सम्मिलित 7 पाठ्यक्रमों के लिए प्रवेश परीक्षाएं 9 जुलाई व ग्रुप-2 में सम्मिलित 8 पाठ्यक्रमों के लिए प्रवेश परीक्षाएं 10 जुलाई को सुबह 11:30 से 1:00 बजे तक आयोजित की जाएंगी।
बात के धनी श्री हुड्डा एक बार फिर अपने वायदों पर खरे उतरे है
सिरसा। ब्लाक कांग्रेस कमेटी सिरसा शहरी के प्रधान भूपेश मेहता ने सिरसा व फतेहाबाद के सारे कालेजों को चौ. देवीलाल विश्वविद्यालय से जोड़े जाने के निर्णय पर मुख्यमंत्री चौ. भूपेंद्र सिंह हुड्डा व सांसद डा. अशोक तंवर के प्रति आभार जताते हुए कहा कि बात के धनी श्री हुड्डा एक बार फिर अपने वायदों पर खरे उतरे है तथा जिलावासियों की चिरलंबित मांग को पूरा किया है।
श्री मेहता आज अपने कार्यालय में कांग्रेस कार्यकर्ताओं की बैठक को संबोधित कर रहे थे। इस मौके पर उनके साथ औमप्रकाश एंथोनी, विनोद उपाध्याय, रामदास बजाज, जग्गी बाजेकां, औमप्रकाश फूलकां, वेद प्रकाश कसुंभी, हंसराज सलारपुर, सतपाल गोदारा शेरपुरा, प्रेम सैनी, रमेश गोयल, अभिमन्यू मलिक, भूप सिंह भडोरिया, बंसी कायत, चंद्रभान कुलडिया फूलकां, दर्शन सिंह चमकीला, सुरिंद्र कौर,दर्शनारानी सहित अनेक कार्यकर्ता उपस्थित थे।
कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए भूपेश मेहता ने कहा कि मुख्यमंत्री श्री हुड्डा ने सांसद डा. अशोक तंवर के नेतृत्व में सिरसा में आयोजित हुई बढ़ते कदम रैली में सिरसा वासियों से वायदा किया था कि वे चौ. देवीलाल विश्वविद्यालय का संपूर्ण विकास करवाएंगे साथ ही लड़कियों के लिए अलग कालेज की स्थापना की जाएगी। अपने वायदे पर खरा उतरते हुए मुख्यमंत्री ने चौ. देवीलाल विश्वविद्यालय को सिरसा व फतेहाबाद जिलों के 42 से अधिक कालेजों को जोड़कर न केवल इस क्षेत्र के हजारों विद्यार्थियों को राहत प्रदान की है, बल्कि विश्वविद्यालय के विकास के द्वार भी खोले हैं। श्री मेहता ने कहा कि सिरसा में महिला कालेज की स्थापना के लिए भी चौ. देवीलाल विश्वविद्यालय के समक्ष मिनी बाईपास पर पड़ी साढ़े 18 एकड़ भूमि को शीघ्र ही मंजूरी मिलने जा रही है। उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री के इन निर्णयों से शिक्षा के क्षेत्र में प्रदेश का नाम रोशन होगा साथ ही चौ. देवीलाल विश्वविद्यालय व सिरसा जिला शिक्षा के क्षेत्र में अग्रणी बनेंगे। इस अवसर पर श्री मेहता ने शिक्षा विभाग में तबादला नीति में महिलाओं को विशेष छुट दिए जाने की भी सराहना की।
9 किलो 800 ग्राम डोडा चूरापोस्त सहित एक व्यक्ति को काबू किया
सिरसा। थाना शहर सिरसा की बस स्टैंड पुलिस चौकी ने गश्त व चैकिंग के दौरान विश्वकर्मा चौक के निकट से 9 किलो 800 ग्राम डोडा चूरापोस्त सहित एक व्यक्ति को काबू किया है। पकड़े गए आरोपी की पहचान कैलाशचंद पुत्र भगवानाराम निवासी खिरोड जिला झूंझनु राजस्थान के रूप में हुई है। आरोपी के खिलाफ मादक पदार्थ अधिनियम के तहत थाना शहर सिरसा में अभियोग दर्ज किया गया है। आरोपी को आज सिरसा अदालत में पेश किया जाएगा। जानकारी के अनुसार बस स्टैंड चौकी प्रभारी सहायक उपनिरीक्षक जसबीर ङ्क्षसह अन्य पुलिस कर्मियों के साथ विश्वकर्मा चौक के पास तैनात थे, इसी दौरान बस स्टैंड की ओर से निकल कर एक व्यक्ति आया व पुलिस पार्टी को देखकर खिसकने का प्रयास किया। शक के आधार पर पुलिस ने रोककर उसकी तलाशी ली तो उसके कब्जे से 9 किलो 800 ग्राम चूरापोस्त बरामद किया।
एक अन्य घटना में शहर थाना पुलिस ने संजयखान पुत्र गुलमोहम्मद खान निवासी चतरगढपट्टी सिरसा को 8 बोतल शराब सहित डबवाली रोड क्षेत्र से काबू किया। वहीं सदर सिरसा पुलिस ने सट्टाखाईवाली करने के आरोप में पम्मा पुत्र बंजार सिंह निवासी मल्लेकां को 510 रूपए की सट्टाराशि सहित काबू किया।
थाना शहर सिरसा पुलिस की हुडा पुलिस चौकी ने गश्त व चैकिंग के दौरान एक व्यक्ति को 32 बोर के नाजायज पिस्तौल के साथ काबू किया है। पकड़े गए आरोपी की पहचान सुरेश कुमार पुत्र रमेशचंद निवासी वेदवाला के रूप में हुई है। आरोपी के खिलाफ शस्त्र अधिनियम के तहत थाना शहर सिरसा में अभियोग दर्ज किया गया है। शहर थाना की हुडा पुलिस चौकी के मुख्य सिपाही कुलदीप सिंह पर आधारित पुलिस टीम ने हुडा के सैक्टर 20 क्षेत्र में गश्त के दौरान एक व्यक्ति ने छिपने का प्रयास किया, जिसे पुलिस ने शक के आधार पर काबू कर उसकी तलाशी ली, तो उसके कब्जे से 32 बोर का एक नजायज पिस्तौल बरामद हुआ। आरोपी को आज न्यायलय में पेश कर रिमांड हासिल किया जाएगा।
शहर थाना सिरसा पुलिस ने बीती 25 मई को मुल्तानी कालोनी क्षेत्र में हुई चोरी की घटना के मामले में दूसरे आरोपी को भी गिरफ्तार कर लिया है। पकड़े गए आरोपी की पहचान अरूण पुत्र जनकराज निवासी मुल्तानी कालोनी सिरसा के रूप में हुई है। मामले के जांच अधिकारी उपनिरीक्षक कृष्ण कुमार ने जानकारी देते हुए बतलाया कि इस संबंध में सुनीता पत्नी सुरेंद्र निवासी मुल्तानी कालोनी की शिकायत पर चोरी का अभियोग दर्ज किया था। इस मामले में पुलिस ने एक आरोपी दीपक पुत्र लालचंद निवासी पुरानी हाउसिंग बोर्ड कालोनी को पहले की काबू कर लिया था। उन्होंने बताया कि गिरफ्तार किए गए आरोपी अरूण से पूछताछ की जा रही है।
जिला की रानियां पुलिस ने ट्राला चोरी के मामले में घटनास्थल से 6 वर्ष से फरार चल रहे उदघोषित अपराधी को पंजाब की अमृतसर जेल से प्रोडेक्शन वारंट पर लेकर ऐलनाबाद अदालत में पेश किया, जहां से उसे एक दिन के पुलिस रिमांड पर लिया गया। आरोपी को आज पुन: ऐलनाबाद अदालत में पेश किया गया, जहां से उसे न्यायिक हिरासत में सिरसा जेल भेज दिया गया है। रानियां थाना के प्रभारी निरीक्षक हीरा ङ्क्षसह ने जानकारी देते हुए बतलाया कि आरोपी अमरजीत ङ्क्षसह पुत्र हरबंस सिंह निवासी कत्थू नंगल के खिलाफ थाना रानियां में 2005 में ट्राला चोरी का अभियोग दर्ज हुआ था। उन्होंने बताया कि घटना के चार आरोपियों को गिरफ्तार कर रानियां पुलिस ने चोरीशुदा ट्राला पहले की बरामद कर लिया था, लेकिन आरोपी अमरजीत सिंह फरार चल रहा था। थाना प्रभारी ने बताया कि रानियां पुलिस को सूचना मिली कि आरोपी अमरजीत ङ्क्षसह अमृतसर की जिला जेल में चोरी के दो मामलों के संबंध में जेल में हैं, उन्होंने बताया कि सूचना के आधार पर रानियां पुलिस ने ऐलनाबाद अदालत से प्रोडेक्शन वारंट जारी करवाकर आरोपी को गिरफ्तार किया। उन्होंने बताया कि आरोपी के खिलाफ अदालती आदेशों की अवहेलना करने के आरोप में भादंसं की धारा 174ए के तहत भी अभियोग दर्ज किया गया है।
सिरसा। पुलिस अधीक्षक सतेंद्र कुमार गुप्ता ने कहा कि सेवानिवृत हुए पुलिस कर्मियों ने अपना संपूर्ण जीवन पुलिस विभाग व आमजन की सेवा में समर्पित कर दिया है, जिसके लिए वे प्रशंसा के पात्र है। उन्होंने कहा कि वे सेवानिवृत होने वाले पुलिस कर्मियों की उज्जवल भविष्य की कामना करते है। श्री गुप्ता आज पुलिस लाईन में स्थित सामुदायिक केंद्र में सेवानिवृत पुलिस कर्मियों के सम्मान में आयोजित समारोह को संबोधित कर रहे थे। इस अवसर पर पुलिस अधीक्षक ने सेवानिवृत होने वाले 9 पुलिस कर्मियों को स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया। इस अवसर पर श्री गुप्ता ने उपस्थित पुलिस कर्मियों से आह्वान किया कि वे सेवानिवृत होने वाले पुलिस कर्मियों से प्र्रेरणा लें। आज सेवानिवृत होने वाले पुलिस कर्मियों निरीक्षक सतपाल, उपनिरीक्षक जगदीश राय, आसाराम, जगदीशचंद्र, जयसिंह, सहायक उपनिरीक्षक सुबे सिंह, महीपाल, मुख्य सिपाही हरदीप सिंह तथा बहादूर सिंह के नाम शामिल है। इस अवसर पर अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक प्रवीण मेहता, डीएसपी डबवाली बाबूलाल यादव, डीएसपी ऐलनाबाद रविंद्र कुमार, डीएसपी मुख्यालय पूर्णचंद पंवार सहित जिला के अनेक पुलिस अधिकारी व कर्मचारी उपस्थित थे।
230 मरीजों की आंखों की जांच की
ओढ़ां-गांव राजपुरा में पंचायतघर के निकट ग्राम पंचायत द्वारा आयोजित आंखों के नि:शुल्क शिविर में सिरसा के सूर्या अस्पताल के डॉ. जितेंद्र एवं डॉ. अमरजीत ने अपनी टीम के साथ 230 मरीजों की आंखों की जांच की। जांचे गए 230 मरीजों में से 15 मरीज मोतियाबिंद के पाए गए जिनका आप्रेशन किया जाएगा। कैंप में आए सभी मरीजों को नि:शुल्क दवाएं भी दी गई। इस अवसर पर डॉ. जितेंद्र ने बताया कि आंखें हमारे शरीर का सबसे महत्वपूर्ण अंग हैं अत: इनकी देखभाल पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है। उन्होंने बताया कि आंखों की देखभाल हेतु नियमित अंतराल पर आंखों की जांच करवाते रहना चाहिए तथा डॉ. के निर्देशानुसार उपचार करवाते रहना चाहिए। सरपंच सहजिंद्र सिंह ने बताया कि जिन मरीजों के आप्रेशन किए जाने हैं उनके आप्रेशन ग्राम पंचायत की ओर से नि:शुल्क करवाए जाएंगे। उन्होंने बताया कि ग्राम पंचायत की ओर से स्वास्थ्य की जांच हेतु इस प्रकार के शिविरों का आयोजन आगे भी जारी रहेगा ताकि गांववासी स्वस्थ रहें। इस अवसर पर सुखजिंद्र सिंह, शीशपाल, सुरेंद्र कुमार, अमरजीत, करतार सिंह और जसवंत सिंह सहित अनेक लोग उपस्थित थे।
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