2013: वह साल जिसमें हम मोबाइल हो गए
हम बात कर रहे हैं मोबाइल डाटा की जो क्लाउड में स्टोर किया गया हो और मोबाइल कॉर्पोरेट ढांचे की को डाटा को शेयर करने की नई उम्र से सामंजस्य बनाने की कोशिश कर रहा है.
मोबाइल यह सिर्फ़ एक उपकरण नहीं है बल्कि यह एक मनःस्थिति है.
और 4जी नेटवर्क की ताकत वाली इस गतिशीलता में व्यापार की संभावनाएं तो हैं ही लेकिन इसकी अपनी चुनौतियां भी हैं.
लंदन के कैस बिज़नेस स्कूल में इंफ़ॉर्मेशन लीडरशिप नेटवर्क के निदेशक डेविड चान मानते हैं कि मोबाइल ने हमारे व्यवहार में मूलभूत बदलाव कर दिया है.
मौलिक इस्तेमाल
हमारे ख़रीदारी करने, काम करने, रचनात्मकता और संवाद करने को मोबाइल ने बदल दिया है लेकिन बहुत से व्यापार इस नए प्रतिमान को स्वीकार करने में असफल रहे हैं.जैसे कि पारंपरिक बाज़ार नए ऑनलाइन शॉपिंग के आगे धराशाई हो रहे हैं.
वह कहते हैं, "दुनिया इतनी तेज़ी से बदल रही है कि हमारी बड़ी आईटी योजनाएं शुरू होने से पहले ही पुरानी पड़ जा रही हैं."
फ़्लोरिडा की वर्चुलाइज़ेशन और सॉफ़्टवेयर कंपनी साइट्रिक्स सिस्टम्स के क्लाउड मैनेजिंग डायरेक्टर डेमियन साउंडर्स इससे सहमत हैं.
दूसरे शब्दों में सॉफ़्टवेयर को अपडेट न करना या फिर सिस्टम का पर्याप्त परीक्षण न करना.
इस साल ने हमारे तकनीकी ढांचे की चरमराहट को, हमारे पुराने कंप्यूटर सिस्टमों और हमारी बेकार पड़ चुकी प्रबंधन सोच को उजागर किया.
साल 2013 में एक्सेलोमीटर, जीपीएस नेविगेशन सिस्टम, हाई डेफ़िनेशन कैमरों, घड़ी और वायरलेस कनेक्टिविटी वाले शानदार स्मार्टफ़ोनों का कई तरह से मौलिक रूप से इस्तेमाल शुरू
हुआ.
ऐप और रफ़्तार
एक बड़े समुदाय के बीच डाटा शेयर करके इस तरह के वार्निंग सिस्टम से कई जानें बचाना संभव है.
इसके अलावा हमने देखा कि फ़ोन कैसे स्वास्थ्य की देखरेख कर कर सकते हैं. स्मार्टफ़ोन अब दिल की धड़कनें, रक्तचाप और यह नाप सकते हैं कि कितनी कैलोरीज़ इस्तेमाल हुई हैं. इस डाटा को अपलोड किया जा सकता है, विज़ुअलाइज़ किया जा सकता है, साझा किया जा सकता है और इसे समझा जा सकता है.
शेयर करने और सहयोग करने के इस नए दौर ने कॉर्पोरेट की निर्देश देने और नियंत्रण करने के पारंपरिक तरीके को चुनौती दी है.
क्राउड सोर्सिंग, इंजीनियरिंग और विज्ञान की विशेषज्ञता ने बहुत सी योजनाओं को रफ़्तार दी है जिनमें डीएनए का विश्लेषण से लेकर एप डिज़ाइन तक शामिल है.
चुनौतियां
कनेक्टिविटी ने कई चीज़ों- जैसे कि ऐसी गोलियां जिन्हें आप ले लें तो वह आपको मैसेज कर देती हैं, घर को गर्म या ठंडा करने का ऐसा सिस्टम जिसे मोबाइल फ़ोन से नियंत्रित किया जा सकता हो- के ज़रिए संभावनाओं की एक नई दुनिया का रास्ता खोल दिया है.लेकिन इन सभी डिजिटल सेंसर्स ने डाटा में कई गुना वृद्धि कर दी है जिसे स्टोर करने, विश्लेषण करने और भेदियों से बचाने की ज़रूरत है.
एडवर्ड स्नोडेन ने अमरीकी सुरक्षा एजेंसियों के प्रिज़्म डिजिटल निगरानी कार्यक्रम का खुलासा किया है वह भविष्य में सभी के लिए एक चेतावनी है.
मोबाइल फ़ोनों में तेज वृद्धि ने भी इन चिंताओं को बल दिया है और आईटी मैनेजर सुरक्षा उपायों को लागू करने के लिए जूझ रहे हैं.
गार्टनर के स्टीव प्रेन्टिस ने जनवरी में ही अद्भुत पूर्वज्ञान के बूते कह दिया था, "और ज़्यादा क्लाउड कंप्यूटिंग, सेवा और स्टोरेज की ज़रूरत पड़ेगी. ज़्यादा मोबाइल उपकरण आएंगे, ज़्यादा एप्स, ज्यादा गेम, ज़्यादा ब्राउज़िंग, ज़्यादा ख़रीदारी होगी और ज़्यादा लोग सोशल मीडिया पर दोस्तों से साथ शेयर करेंगे. इस सबके ज़्यादा बैंडविड्स की ज़्यादा मांग होगी और तेज़ स्पीड, पूरी दुनिया में कवरेज की ज़रूरत होगी."
और यह था 2013: वह साल जिसमें हम मोबाइल हो गए.
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