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23 February 2011

प्रगणकों को अपने परिवार से संबंधित सभी प्रकार की जानकारी व अपना पूरा व्यक्तिगत बायोडाटा दे

सिरसा, 23 फरवरी। सिरसा के उपायुक्त श्री युद्धबीर सिंह ख्यालिया ने आमजन से अपील की है कि वे उनके घर द्वार पर आए प्रगणकों को अपने परिवार से संबंधित सभी प्रकार की जानकारी व अपना पूरा व्यक्तिगत बायोडाटा दे। उन्होंने प्रगणकों से भी कहा कि वे 28 फरवरी तक जनगणना का कार्य पूरा कर ले और सुनिश्चित करे कि कोई भी क्षेत्र कवर किए बिना न रहे। 28 फरवरी की रात को प्रगणकों द्वारा बेघर लोगों की संख्या की गणना की जाएगी इसलिए प्रगणकों को 28 फरवरी की रात को सुरक्षा भी मुहैया करवाई जाएगी ताकि वे सार्वजनिक स्थानों पर जाकर बेघर लोगों की पूरी तरह से गिनती कर सके।
    उन्होंने कहा कि जिला में जनगणना का कार्य 75 प्रतिशत तक पूरा हो चुका है। इस कार्य में लगे प्रगणक पूरी जिम्मेवारी के साथ कार्य रहे है। उन्होंने प्रगणकों को शाबाशी देते हुए कहा कि किसी प्रकार की भी उन्हें दिक्कत आए तो वे अपने क्षेत्र के सुपरवाईजर व मास्टर ट्रेनर से संपर्क करे। उन्होंने बताया कि जनगणना के इस कार्य में 40 प्रतिशत सदस्य सरकारी स्कूलों के अध्यापक है बाकी अन्य विभागों के अधिकारी व कर्मचारी भी शामिल है। इस कार्य के लिए कर्मचारी को अलग से 5500 रुपए का भत्ता दिया जाएगा। घर आने वाली टीम के कर्मचारियों को विभाग द्वारा पहचान पत्र भी दिया गय है।
    उन्होंने बताया कि जिला के कुल वासियों की संख्या कितनी है या एक दशक में कितनी बढ़ी है इसका सही लेखा जोखा दूसरे चरण में होने वाले अभियान के बाद ही मिलेगा। इसी के साथ अंतिम चरण की जनगणना मार्च 2011 पूरी हो जाएगी। इसके पश्चात सभी नागरिकों को पहचान कार्ड भी जारी किए जाएंगे। उन्होंने बताया कि दूसरे चरण के दौरान यानी 9 से 28 फरवरी तक जिला के किसी भी घर में होने वाली जन्म व मृत्यु की गिनती रिवीजनल राउंड में होगी जो कि 1 से 5 मार्च तक चलेगा। बावजूद इसके अगर किसी का मकान अधिकारी से छूट जाता है तो नागरिक इसकी जानकारी कंट्रोल रुम के टोल फ्री नंबर 1800-110-111 पर दे सकते है।
    उपायुक्त ने आगे बताया कि जिला के जनगणना के इस कार्य में 3271 प्रगणक और सुपरवाईजर घ्ज्ञक्र-घर जाकर जनगणना का कार्य सुचारु रुप से कर रहे है। उन्होंने बताया कि जनगणना के कार्य के लिए निर्धारित किए गए प्रोफार्मा में 29 कॉलम दिए गए है। इन सभी कॉलम की जानकारी प्रगणकों द्वारा पुर्णतया गोपनीय रखी जाएगी। यहां तक की जनगणना के दौरान दर्ज की गई जानकारी को किसी भी न्यायालय में साक्ष्य के रुप में प्रस्तुत नहीं किया जा सकता।
    उन्होंने बताया कि जनगणना से प्राप्त आंकड़ों के आधार पर ही केंद्र और राज्य सरकारों द्वारा विकासकारी और जनकल्याणकारी योजनाएं तैयार की जाती है। इस वर्ष होने वाली जनगणना आजाद भारत की सातवीं जनगणना है। जनगणना के इन आंकड़ों से यह भी पता चल पाएगा कि विकास के मामले में देश कहा खड़ा है। उन्होंने बताया कि जनगणना से प्राप्त आंकड़ों का प्रयोग आम आदमी और देश के हित के लिए है।

जनगणना के लिए अनुसूची प्रोफार्मा के 29 सवाल
-व्यक्ति का नाम
-मुखिया से संबंध
-लिंग
-जन्मतिथि और आयु
-वर्तमान वैवाहिक स्थिति
-विवाह के समय आयु
-धर्म
-अनुसूचित जाति/अनुसूचित जाति
-निशक्तता
-मातृभाषा
-अन्य भाषाओं का ज्ञान
-साक्षरता की स्थिति
-शिक्षा ग्रहण की स्थिति
-प्राप्त शिक्षा का उच्चतम स्तर
-क्या पिछले वर्ष के दौरान किसी भी समय काम
-आर्थिक कार्यकलाप की श्रेणी
-व्यवसाय
-उद्योग, व्यापार अथवा सेवा का स्वरुप
-कर्मी का वर्ग
-गैर आर्थिक कार्यकलाप
-काम की खोज में अथवा काम के लिए उपलब्ध कार्य स्थल तक की यात्रा
-पूर्व निवास स्थान
-स्थान परिवर्तन की विशेषताएं जन्मस्थान
-स्थान परिवर्तन का कारण
-कार्यस्थल तक की यात्रा का माध्यम
-स्थान परिवर्तन के पश्चात गांव व नगर में निवास की अवधि
-प्रजननता विवरण, वर्तमान में जीवित बच्चों की संख्या
-जीवित पैदा हुए बच्चों की कुल संख्या
-पिछले एक वर्ष के दौरान जीवित पैदा हुए बच्चों की संख्या

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